Mars Retrograde in Taurustgka : वक्री मंगल 13 नवंबर को वृष राशि में कर रहे हैं प्रवेश, 4 राशियों को बहुत सावधान रहने की जरूरत

Mars Retrograde in Taurustgka
Mars Retrograde in Taurustgka

ज्योतिष डेस्क
कोई भी ग्रह जब मार्गी होता है तो जहां वह शुभ फल देता है वहीं जब बक्री चलता है तो वही ग्रह उस भाव को नुकसान पहुंचाता है जहां का वह स्वामी है या उसकी नजर पड़ रही है। ज्योतिष अनुसार जब कभी कोई ग्रह राशि परिवर्तन या वक्री होता है। तो उसका सीधा असर व्यक्ति के जीवन और पृथ्वी तक पर देखने को मिलता है। इसके साथ ही यह राशि परिवर्तन जहां किसी के लिए सकारात्मक प्रभाव डालता है तो किसी के उपर नकारात्मक प्रभाव डालते हैं। किसी भी जन्मकुंडली में मंगल तीसरे, छठे और दशम भाव के कारक भी माने जाते हैं। साथ ही साथ मंगल को लग्न और अष्टम भाव का आधिपत्य माना गया है। कुंडली में मंगल से किसी भी व्यक्ति की साहस, ऊर्जा और पराक्रम का विचार स्पष्ट रूप से किया जा सकता है।
हम इस आर्टिकल में आपको आज यह बतायेंगे कि जब ग्रहों के सेनापति वक्री अवस्था हो तो उससे व्यक्ति पर क्या प्रभाव पडता है। चूंकि 13 नवंबर को मंगल वृष राशि में गोचर प्रवेश करने वाले हैं। जिसका असर सभी राशियों पर पड़ेगा। हम इस आर्टिकल में उन चार राशियों के बारें में बतायेंगे कि जिनके लिए वृष राशि में मंगल हितकारी नहीं है और उन्हें बहुत ही सावधान रहने की जरूरत है। दूसरे आर्टिकल में आपको यह बतायेंगे कि वृष राशि का बक्री किस-किस राशि को लाभ पहुचांएगा। आइए देखते है कि वो कौन सी चार राशियां है जिन्हें सावधान रहने की जरूरत है।


मेष राशि –

पहली राशि की बात की जाए तो मेष राशि के जातको को काफी सावधान रहने की जरूरत है। ज्योतिष के अनुसार इस राशि के लोंगो के लिए मंगल लग्न के साथ ही आठवें भाव के स्वामी होते हैं। चूकिं मंगल अपनी वक्री अवस्था में दूसरे भाव जो कि वाणी और कुटुंब भाव से गोचर करेंगे। साथ ही मंगल की दृष्टि पाचवें, आठवें और नवें भाव पर जा रही है। आठवें भाव में आपके लिए शुक्र का गोचर पहले से ही हो रहा है। इस काल में आप वेवजह किसी बात को तूल दें देंगे या आपके बात में क्रोध दिखेगा। जिससे परिवार में आपके बात के कारण ही विवाद की स्थिति उत्पन्न हो सकता है। इस दौरान अचानक बड़ी धन हानि तक हो सकती है। परिवार के महिला वर्ग पर धन खर्च होने के योग भी दिख रहा है। पढाई करने वालों छात्रों के लिए भी बाधाओं का सामना करना पडेगा। पिता से मतभेद हो सकता है। प्रेमी-प्रेमिका से अनबन की स्थिति भी बन सकती है। इस लिए इस दौरान अपने वाणी पर आपको बहुत ही संयम रखने की जरूरत है। जिससे आप काफी हद तक इस नकारात्मक प्रभाव को दूर कर सकते हें।


मिथुन राशि-

जहां दूसरे राशि की बात की जाए तो वह हे मिथुन राशि। इस दौरान मंगल अपनी वक्री अवस्था में बारहवें भाव यानी व्यय भाव में गोचर करेंगे। मंगल की पूरी दृष्टि तीसरे, छठे और सातवें भाव पर गोचर होगी। मंगल की छठे भाव में मौजूद शुक्र पर भी पूर्ण दृष्टि होने से इस समय अपने भाई के साथ किसी विवाद होने की प्रबल संभावना है। अति उत्साह में आप अपना काम बिगाड़ लेंगे। इस लिए संयम से काम लेने की जरूरत है। सैर-सपाटे से लाभ होगा लेकिन खर्च अधिक होने की आसार है। ब्लडप्रेशर के रोगियों के लिए यह समय बहुत ही सावधान रहने की जरूरत है। पति-पत्नी या प्रेमी-प्रेमिका को एक दूसरे की भावनाओं की कद्र करनी चाहिए अन्यथा बात बिगड जायेगी। अगर आप किसी काम में नया निवेश करने की सोच रहे हैं तो यह समय आपके लिए ठीक नहीं है।


तुला राशि-

इस राशि के जातकों के लिए ब्रकी मंगल बिल्कुल भी ठीक नहीं है। इसलिए आपको बहुत ही संभल कर चलने की जरूरत है। चूकिं मंगल प्रबल मारकेश का काम करते है ओैर मंगल सातवें और दूसरें भाव के स्वामी होकर आठवें भाव में वक्री होकर प्रवेश करेंगे। मंगल की पूर्ण दृष्टि की बात की जाए तो वह ग्यारहवें, दूसरे और तीसरे भाव पर पडने वाली दिख रही है। वहीं दूसरी तरफ दूसरे भाव में मौजूद शुक्र पर भी मंगल की पूर्ण दृष्टि हो रही है। ऐसे में आपका किसी स्त्री के कारण विवाद जन्म ले सकता है। इस दौरान आपके साथ अचानक से कुछ अनिष्ट होने का योग दिख रहा है। इस समय आपको मानसिक तनाव, व्यापारी वर्ग को धन हानि, कार्य स्थल पर सहकर्मियों के साथ मतभेद, मित्रों से मतभेद, यात्राओं में भी परेशानी की स्थिति दिख रही है। पको नरमी से पेश आना होगा। इस लिए इस दौरान आपको बेहद ही संयम से सोच समझ कर चलने की जरूरत है। इससे काफी हद तक आप मंगल के बक्री के प्रभाव से बच सकते हें।


मकर राशि-

चौथी राशि मकर है। जहां तक मंगल की बात करें तो इस राशि के जातकों चौथे और ग्यारहवें भाव के स्वामी होते है और मंगल पाचवें भाव में वक्री अवस्था में इस दौरान गोचर करेंगे। इसके साथ ही मंगल की पूर्ण दृष्टि आठवें भाव, ग्यारहवें भाव और बारहवें भाव पर भी पड रही है। लाभ स्थान में मौजूद शुक्र पर मंगल की स्पष्ट दृष्टि है। इस दौरान आपको अपने संतान पक्ष से कोई कष्ट, संतान की सेहत को लेकर परेशानी, प्रेमी-प्रेमिका में अनबन की प्रबल संभावना है। इस समय यौन सुख की इच्छा बढ़ी होने के कारण आप परेशानी में पड सकते हें। वाहन चलाते समय भी आपको काफी सावधानी बरतने की जरूरत है। इस तरह से आपको इस समय काफी संयम और धैर्य बनाकर रहने की आवश्यकता है।
नोंट : अगले आर्टिकल में हम आपको बतायेंगे कि मंगल का बक्री किन-किन राशियों को मालामाल बना देगा।

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